अधिसूचना के विरोध में उर्दू ट्रेंड अभियर्थियों द्वारा किया गया विरोध प्रदर्शन
रविवार, 14 जनवरी 2024
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हनवारा/गोड्डा
हनवारा , शमीम अहसन : स्कूली शिक्षा एवं साक्षात्कार विभाग के द्वारा अधिसूचना जारी कर उर्दू शिक्षकों के बचें हुए 3712 सीटों को मरणशील संवर्ग ( डाईंग कैडर)कर दिया गया। इस पद पर आगे कोई भी नियुक्ति नहीं की जाएगी।इस अधिसूचना के विरोध में झारखंड के सभी जिलों एवं प्रखंडों में विरोध प्रदर्शन उर्दू ट्रेंड अभ्यर्थियों के द्वारा किया गया। इसको लेकर रविवार को महागामा प्रखंड के दिग्घी पंचायत में सैकड़ों अभ्यर्थी ने इस अधिसूचना का विरोध दर्ज करने हेतु जमा हुए और आगे की रुपरेखा तैयार कर इस विरोध प्रदर्शन को आगे बढ़ाने का निर्णय लिया। उनलोगों का कहना था कि सरकार अगर इस अधिसूचना को रद्द नहीं करती हैं तो आने वाले समय में प्रखंड,जिला, एवं राज्य में विरोध प्रदर्शन करने के लिए राज्य के 24 जिलों से अभ्यर्थियों राजधानी रांची में जमा होंगे और सरकार के इस अधिसूचना के खिलाफ विरोध प्रदर्शन किया जाएगा। सरकार उर्दू पढ़ने वाले छात्र-छात्राओं को उर्दू पढ़ने से वंचित करना चाहती हैं। एक तरफ झारखंड राज्य के 24 जिलों के विद्यालय से उर्दू पड़ने वाले छात्र-छात्राओं की संख्या की मांग करती हैं। दुसरी तरफ उर्दू के बचे पदों को भी सरेंडर करने हेतु अधिसूचना जारी करती हैं। यह दोहरी चरित्र सरकार की मंशा को जाहिर करती हैं। पूर्व में जो सरकार के द्वारा पत्र जारी हुआ था उसमें स्पष्ट कहां गया था की जिस भी विद्यालय में उर्दू के 10 छात्र छात्राएं अध्ययनरत होंगे। वहां उर्दू विषय पढ़ाने के लिए उर्दू के शिक्षकों की नियुक्ति की जाएगी। लेकिन सरकार द्वारा जारी वर्तमान अधिसूचना में बचें हुएं 3712 सीटों को मरनशील स्वर्ग में डालने से उर्दू के शिक्षकों की नियुक्ति कैसे संभव हैं। सरकार स्पष्ट करें नहीं तो इसका पुरजोर विरोध किया जाएगा। इस दौरान मु० गुलजार नैय्यर, नजमुस शाकिब,महफुज आलम, मिस्बाह बारी,आफताब आलम, शहनबाज आलम, शमीम अख्तर, इरसाद आलम, सरवर आलम, एहसान आलम, नुरुल ऐन, इमदाद, काशमी, अबु सुफयान, जियाउल इस्लाम, शमद अली, शमसाद आलम,इसहाक आलम, जमीरुद्दीन, मु० अतीकुर रहमान आदि ने विरोध प्रदर्शन में उर्दू ट्रेंड अभ्यर्थियों ने भाग लिया।
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