
झारखंड में बिजली उपभोक्ताओं को दो हजार करोड़ की सब्सिडी
सोमवार, 30 अप्रैल 2018
राज्य के बिजली उपभोक्ताओं को सब्सिडी देने पर सरकार करीब 2000 करोड़ रुपये खर्च कर सकती है। इस बार की कैबिनेट में सरकार यह प्रस्ताव लाने की तैयारी में है। सूत्रों के अनुसार सरकार उद्योगों को छोड़ कर हर वर्ग के ग्राहकों को सब्सिडी देगी। कम बिजली खपत वाले उपभोक्ताओं को अधिक सब्सिडी देने का प्रस्ताव लाया जा सकता है।

ऐसे मिलेगी सब्सिडी
नई दर के आधार पर उपभोक्ताओं का बिल बनेगा। सरकार की ओर से प्रति यूनिट तय सब्सिडी बिल में घटा दी जाएगी। जो राशि बचेगी वही चुकानी होगी। आगे चलकर सब्सिडी खाते में दी जा सकती है। विद्युत नियामक आयोग के अध्यक्ष डॉ. अरविंद प्रसाद ने संकेत दिया है कि सब्सिडी के बाद उपभोक्ताओं पर बहुत अधिक भार नहीं पड़ेगा।
आपूर्ति लागत पर बिल निर्धारण
वित्त वर्ष 2018-19 के लिए टैरिफ निर्धारण 5.98 रुपये औसत लागत को आधार बनाकर किया गया है। चूंकि जेबीवीएनएल ने सिक्योरिटी जमा पर सभी श्रेणी के उपभोक्ताओं को ब्याज का भुगतान शुरू नहीं किया इसलिए जेबीवीएनएल पर दो प्रतिशत का जुर्माना लगाया गया है। यह करीब 125 करोड़ रुपये हुआ। आयोग ने इस राशि को टैरिफ में समायोजित किया। इसलिए सभी श्रेणी के उपभोक्ताओं अथवा कनेक्शन के टैरिफ का आधार 5.86 रुपये हो गया।
कम खपत पर अधिक सब्सिडी
राज्य सरकार की तैयारी के अनुसार 200 यूनिट तक खपत करने वाले घरेलू उपभोक्ताओं को 2 से 2.5 रुपये प्रति यूनिट सब्सिडी दी जा सकती है। इससे अधिक खपत पर सब्सिडी कम होती जाएगी और 500 यूनिट के बाद सब्सिडी नहीं दी जा सकती है। धीरे-धीरे सब्सिडी कम की जाएगी और उपभोक्ताओं को आपूर्ति की लागत पर बिजली मिलेगी। किसानों और गरीबों को अपेक्षाकृत अधिक सब्सिडी दी जाएगी। मुख्यमंत्री रघुवर दास ने शुक्रवार को ही यह स्पष्ट कर दिया है