-->
हजारीबाग डिटेंशन सेंटर से तीन बांग्लादेशी फरार, सुरक्षा व्यवस्था पर उठ रहे सवाल।

हजारीबाग डिटेंशन सेंटर से तीन बांग्लादेशी फरार, सुरक्षा व्यवस्था पर उठ रहे सवाल।

भानुमित्र संवाददाता।

हजारीबाग जिले का लोकनायक जयप्रकाश नारायण केंद्रीय कारागार लगातार इन दिनों सुर्खियों में हैं चाहे जेल में बंद कैदी के द्वारा फांसी लगाने की बात हो या फिर जेल के अंदर से संचालित गिरोह के द्वारा बड़ी घटनाओं को अंजाम दिया जाना। ताजा मामला है की बिना पासपोर्ट के अवैध रूप से भारत में प्रवेश करने वाले तीन बांग्लादेशी नागरिक झारखंड के हजारीबाग डिटेंशन सेंटर से फरार हो गए । फरार हुए तीनों बांग्लादेशी नागरिक अपनी सजा पूरी कर चुके हैं जिसमें रीना खान उर्फ ​​फिना देवी, अख्तर खुशी और नजमुल शामिल हैं। रीना खान को चार फरवरी 2022, अख्तर खुशी को 28 सितंबर 2024 तथा नजमुल को एक मार्च 2025 को जामताड़ा जेल से हजारीबाग डिटेंशन सेंटर में शिफ्ट किया गया था। इन तीनों बांग्लादेशियों को झारखंड की अलग-अलग जेलों से हजारीबाग डिटेंशन सेंटर में रखा गया था। जानकारी के मुताबिक ये सभी रविवार की देर रात या सोमवार अहले सुबह फरार हुए हैं। फरार बांग्लादेशियों की जानकारी को छिपाने की कोशिश की जा रही थी लेकिन जैसे ही इस घटना की जानकारी मिली पुलिस हजारीबाग के विभिन्न इलाकों में छापेमारी कर रही है। फरार बांग्लादेशियों की डिटेल भी सभी थानों को उपलब्ध करा दी गयी है ताकि जल्द से जल्द गिरफ्तारी की जा सके। घटना के बाद जिले के वरीय अधिकारियों ने भी सेंटर का निरीक्षण किया तथा हजारीबाग जिला उपायुक्त शशि प्रकाश सिंह भी सेंटर की जांच करने पहुंचे। उन्होंने कहा कि पूरे मामले की जांच की जा रही है तथा तीनों घुसपैठियों की गिरफ्तारी के लिए आदेश जारी कर दिया गया है और बहुत जल्द सभी पकड़े जाएंगे। मिली जानकारी के अनुसार सभी विदेशी नागरिक अपनी सजा पूरी कर चुके थे पर बांग्लादेश सरकार की ओर से उन्हें देश वापस लाने का कोई प्रयास नहीं किया जा रहा था इसलिए सभी को हजारीबाग के डिटेंशन सेंटर में रखा गया था।
*पहले भी फरार हो चुके हैं अवैध घुसपैठिए।*
गौरतलब हो की हजारीबाग जेपी केंद्रीय कारा के डिटेंशन सेंटर से सजा काट चुके दो विदेशी पहले भी सुरक्षा घेरा तोड़कर भाग चुके हैं। आठ मार्च 2021 की रात को ऐसी घटना हुई थी जिसमें दो विदेशी नागरिक सेंटर की खिड़की का रॉड तोड़कर भाग निकले थे। भागने वाले विदेशी नागरिकों में मोहम्मद जावेद उर्फ ​​नूर तथा मोहम्मद जाहिद हुसैन दोनों बांग्लादेशी थे। उक्त दोनों घुसपैठिए दुमका में बिना टिकट यात्रा करते पकड़े गए थे तथा 24 जनवरी 2020 को उनकी सजा पूरी हो गई थी फिर उन्हें दुमका जेल से हजारीबाग डिटेंशन सेंटर में ट्रांसफर कर दिया गया था जहां दोनों घुसपैठिए 11 महीने तक डिटेंशन सेंटर में रहे और फिर जेल से फरार हो गए तथा पुलिस अब तक दोनों को नहीं ढूंढ पाई । वहीं 13 सितंबर 2021 को इसी सेंटर से एक विदेशी नागरिक मोहम्मद अब्दुल्ला भी फरार हो गया था जो म्यांमार का रहने वाला था।

Related Posts

0 Response to "हजारीबाग डिटेंशन सेंटर से तीन बांग्लादेशी फरार, सुरक्षा व्यवस्था पर उठ रहे सवाल।"

Ads 1

TOP CONTENT

ADS 3

ADS 4